Description
Introduction:
ज्योतिष शास्त्र में रत्नों का बहतु अधिक महत्व है। इन्हीं रत्नों में से एक है गोमेद जिसे पहनने से ग्रह के दोष का निवारण होता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, गोमेद रत्न को धारण करने से राहु ग्रह मजबूत होता है। इसके साथ ही जिसकी कुंडली में यह नीच स्थान में हैं अगर वह लोग गोमेद धारण करें तो इसका दुष्प्रभाव कम होता है। इतना ही नहीं यह शनि के प्रभाव को भी कम करने में मदद करता है। जानिए किन लोगों को गोमेद पहनना चाहिए और किन लोगों को नहीं।
गोमेद पहनने से मिलेंगे ये लाभ
- इस रत्न धारण करने से राहु और शनि की महादशा के दुष्प्रभाव जातक पर कम होंगे
- मन में पॉजिटिव विचार आएंगे
- दिमाग शांत रहेगा और एकाग्रता बढ़ेगी
- हर बिगड़े या अटके हुए काम पूरे होंगे
- जिस क्षेत्र में आप अपना हाथ लगाएंगे उसमें आपको लाभ मिलेगा
- हर बिगड़े या अटके हुए काम पूरे होंगे
किन लोगों को पहनना चाहिए गोमेद रत्न
- जिन लोगों की कुंडली राहु केन्द्र के 1, 4, 5 7,9 और 10 भाव में हैं तो वह जरूर गोमेद रत्न धारण करें।
- अगर आपकी जन्मकुंडली में राहु द्वितीय या फिर एकादश भाव में हैं तो गोमेद पहन सकते हैं।
- अगर आपकी कुंडली में राहु उच्च स्थान में विराजमान हैं तो आपके लिए गोमेद भाग्यशाली साबित होगा।
- वृष, मिथुन, कन्या, तुला और कुंभ राशि के जातक गोमेद धारण कर सकते हैं। इससे उन्हें लाभ मिलेगा।
- अगर राहु के कारण आपके बनते बनते काम बिगड़ जा रहे हैं तो ज्योतिष से सलाह लेकर आप भी गोमेद धारण कर सकते हैं। इससे राहु के कारण काम में आ रही अड़चनों से निजात मिलेगी।
- राजनीति में सफलता हासिल करने वाले लोगों को गोमेद धारण करने से विशेष लाभ होता है।
किन लोगों को नहीं धारण करना चाहिए गोमेद
- अगर आपकी कुंडली में राहु छठें, आठवें या फिर बारहवें भाव में हैं तो गोमेद रत्न पहनने से पहले ज्योतिष से जरूर पूछ लें, अन्यथा आपको हानि का सामना करना पड़ सकता है।
- गोमेद रत्न मेष, कर्क, सिंह, वृश्चिक, धनु, मकर और तुला राशि के जातकों के लिए अच्छा नहीं माना जाता है। लेकिन अगर आप पहनना चाहते हैं तो एक बार कुंडली ज्योतिषी को दिखा लें।
- अगर आपका स्वभाव राहु वाला है तो इस रत्न को धारण न करें। इससे स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ने के साथ जीवन में कई समस्याओं का सामना करना पड़ेगा।
- गोमेद रत्न के साथ कभी भी मूंगा रत्न नहीं पहनना चाहिए। इससे दोनों रत्नों का असर उल्टा पड़ता है।
कैसे करें गोमेद रत्न धारण
गोमेद को शनिवार, आर्दा, शतभिषा या फिर स्वाती नक्षत्र में धारण करना अच्छा माना जाता है। इस रत्न को अष्ठ धातु या फिर चांदी की अंगूठी में पहन सकते हैं। गोमेद रत्न धारण करने के एक दिन पहले रात को अंगूठी को गंगाजल, दूध, शहद और थोड़ी सी चीनी का घोल बनाकर डाल दें। दूसरे दिन स्नान आदि करके राहु के मंत्र ‘ऊं रां रावे नम:’ का 108 बार जाप करके मध्यमा अंगुली में धारण कर लें।
Reviews
There are no reviews yet.